अब बिना डॉक्टर पर्ची नहीं मिलेगी हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन

सरकार ने कर लिया था अधिग्रहण, ऐसे में जरूरतमंद मरीजों को नहीं मिल पा रही थी यह दवा

 

जस्ट टुडे




जयपुर। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव रोहित कुमार ने मंगलवार को एक आदेश जारी कर कोविड-19 के संक्रमण से बचाव और रोकथाम के काम आने वाली हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन-200, 300 और 500 एमजी की अधिगृहित दवाओं में से 25 प्रतिशत दवाओं को संबंधित फर्म को लौटाने और चिकित्सकीय पर्ची पर मरीजों को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं।




       सिंह ने विभाग ने बताया कि लोकहित में विभाग द्वारा कोविड-19 के संक्रमण से बचाव और रोकथाम के लिए राज्य के निजी क्षेत्र में उपलब्ध हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन-200, 300 और 500 एमजी की दवाओं को सरकार द्वारा सभी सीएंडएफ वितरक, स्टाकिस्ट, थोक और रिटेल विक्रेताओं से अधिगृहित कर ली गई थी। सिंह ने बताया कि इस साल्ट की दवाओ के अधिग्रहण के बाद बाजार में इनकी उपलब्धता खत्म हो गई।


गठिया के मरीजों के आती है काम


गौरतलब है कि गठिया के मरीज इन दवाओं का सेवन करते हैं। इसके चलते नियमित मरीजों को दवा नहीं मिल पा रही थी। उन्होंने बताया कि मरीजों की आवश्यकता को देखते हुए बाजार से अधिगृहित की गई दवाओं में से 25 प्रतिशत हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन-200 व 400 एमजी टेब्लेट्स संबंधित फमोर्ं को लौटा दी गई हैं। उन्होंने बताया कि चिकित्सकीय परामर्श के आधार पर ये दवाएं मरीजों को उपलब्ध कराई जाएं और इनकी कालाबाजारी और मुनाफाखोरी ना हो।

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